नई दिल्ली (एजेंसी)। ऐसा बहुत दुर्लभ मौकों में होता है की भारतीय सेना के तीनो सैन्य बल के उच्च अधिकारी एक जगह एक वक़्त पर हो। और ये मौका था पाकिस्तान के साथ बढ़ते तनाव के बिच जब तीनो सैन्य बल के उच्च अधिकारी संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस पर आये। भारतीय सेना के तीन बहादुर अफसर आए और देश, दुनिया को संदेश किया कि पाकिस्तान ने हमारे सैन्य ठिकाने पर तबाही मचाने की भरसक कोशिश की, लेकिन उसे भारतीय सुरक्षा बलों ने कामयाब नहीं होने दिया। एयरवाइस मार्शल आरजीके कपूर, मेजर जनरल सुरेंद्र सिंह महल और नेवी रीअर एडमिरल दलबीर सिंह गुजरात ने तीनों सैन्य बलों की क्षमता, तालमेल, आपरेशन तैयारी तथा सजगता का उदाहरण पेश किया। भारतीय सैन्य अफसरों ने कहा कि सुरक्षा बल देश की शांति, स्थिरता, संप्रभुता की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध हैं और किसी भी चुनौती के लिए तैयार हैं।
मेजर जनरल एसएस महल, नेवी रीयर एडमिरल गुजराल और एयरवाइस मार्शल कपूर के अनुसार भारतीय सैन्य बलों की मुश्तैदी ने पाकिस्तान के दांत खट्टे कर दिए। उसकी वायुसेना ने जिस इरादे से एफ-16 को उड़ाया था, उसमें बिल्कुल सफल नहीं हो पाई। सैन्य अधिकारियों ने कहा कि भारतीय वायुसेना द्वारा पाकिस्तान के बालाकोट में आतंकी कैंप को तबाह करने के बाद पाकिस्तान ने की वायुसेना ने जवाबी कार्रवाई के जरिए उकसाया। उसने अमेरिका में बने अपनी वायुसेना के एफ-16 लड़ाकू विमानों से भारत के सैन्य ठिकाने पर हमला करने की कोशिश की।
पाकिस्तान की वायुसेना भारत के ब्रिगेड कमान, सैन्य ठिकाने को निशाना बनाना चाहती थी, लेकिन समय रहते भारतीय रेडार ने इसे भांप लिया। सैन्य अफसरों का कहना है कि सुखोई-30 एमकेआई, मिराज-2000 और मिग-21 बायसन की तिकड़ी ने तालमेल बनाकर पाकिस्तान की इस चुनौती को नेस्तनाबूत कर दिया। पड़ोसी देश की वायुसेना और सुरक्षा बल भारत का कुछ भी नहीं बिगाड़ पाए।
सैन्य अफसरों का कहना है कि इस अभियान भारत ने अपना एक मिग-21 लड़ाकू विमान खोया है। हमारे पायलट विंग कमांडर अभिनंदन वर्थमान अपने मिग-21 में तकनीकी खराबी के कारण पाकिस्तान के कब्जेवाले कश्मीर में चले गए। वह पाकिस्तान के कब्जे में हैं और शुक्रवार को वहां से रिहा होंगे। सैन्य अफसरों ने उनके भारत आने का स्वागत किया है।
रीअर एडमिरल ने बताया कि पाकिस्तान द्वारा युद्ध जैसे हालात के की स्थिति पैदा करने के बाद सिर्फ सेना और वायुसेना ही नहीं, नौसेना भी हाई अलर्ट पर थी। जमीन, जल और आसमान पर पूरी निगरानी रखी जा रही थी। रीअर एडमिरल गुजराल के अनुसार हम किसी भी चुनौती का मुंहतोड़ जवाब देने के लिए तैयार थे। लेकिन भारतीय सुरक्षा बलों का मकसद केवल शांति स्थापना है, युद्ध नहीं। सेना के मेजर जनरल और वायुसेना के एयरवाइस मार्शल ने भी यही संदेश दिया।
उन्होने साफ कहा कि उनका मकसद युद्ध नहीं था, लेकिन किसी नापाक हरकत का त्वरित मुंहतोड़ जवाब देने की उनमें सक्षमता है। वह पाकिस्तान की सेना, वायुसेना जैसे नहीं हैं जो गलत दावे करें, झूठ बोलें और तथ्यों को छिपाने का प्रयास करें। तीनों सेनाओं ने अपने तालमेल, अनुशासन तथा देश की रक्षा के लिए राजनीतिक नेतृत्व के हर निर्देश के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दिखाई है।