नई दिल्ली(एजेंसी): ब्याज पर ब्याज माफी स्कीम के तहत कैशबैक स्कीम का एग्रीकल्चर और उससे जुड़े लोन लेने वालों को नहीं मिलेगा. वित्त मंत्रालय ने साफ कर दिया है कि खेती-किसानी करने वाले लोगों को ट्रैक्टर और दूसरे तरह के एग्रीकल्चर लोन के इंटरेस्ट पर कोई छूट नहीं मिलेगी. वित्त मंत्रालय ने ब्याज पर ब्याज से मिलने वाली छूट स्कीम पर FAQ जारी किया है. वित्त मंत्रालय ने कहा कि 5 नवंबर तक ऐसे सभी अकाउंट होल्डर साधारण ब्याज और चक्रवृद्धि ब्याज के अंतर का कैशबैक मिलेगा, जिन्होंने किसी भी तरह का लोन लिया हुआ है.
इस स्कीम का फायदा कार लोन वालों और क्रेडिट कार्ड होल्डर्स को तो मिलेगा लेकिन एग्रीकल्चर और इससे जुड़े लोन लेने वालों को नहीं. स्कीम के तहत एग्रीकल्चर लोन छोड़कर 2 करोड़ रुपये से कम के सभी सभी तरह के लोन को शामिल किया गया है, जिन्होंने कोरोना काल में पिछले छह महीने की किस्त दी है. FAQK के मुताबिक ब्याज पर ब्याज माफी स्कीम के तहत कैशबैक का लाभ एमएसएमई, एजुकेशन, होम, कंज्यूमर ड्यूरेबल, क्रेडिट कार्ड बकाया, ऑटो लोन, पर्सनल लोन और कंजप्शन लोन लेने वालों को दिया जाएगा. लेकिन फसल और ट्रैक्टर लोन के साथ एग्रीकल्चर से जुड़े किसी भी तरह के लोन को ब्याज पर ब्याज के तहत माफी योजना के तहत कैश बैक स्कीम का लाभ नहीं मिलेगा.
आरबीआई ने मंगलवार को सभी बैंकों, एनबीएफसी समेत सभी वित्तीय संस्थानों को निर्देश देकर कहा है कि वे दो करोड़ रुपये तक के कर्ज के लिए हाल ही में घोषित ब्याज पर ब्याज की माफी योजना को लागू कर दें. सरकार ने सभी बैंकों को 5 नवंबर तक चक्रवृद्धि ब्याज और साधारण ब्याज के अंतर को लोन कस्टमर के खाते में जमा करने का निर्देश दिया है. यह फायदा 1 मार्च से 21 अगस्त के बीच यानी 184 दिन के लोन पर मिलेगा. इस योजना को फायदा उन लोगों को भी मिलेगा, जिन्होंने मोरेटोरियम के लिए अप्लाई नहीं किया है.