प्रियंका गांधी के दफ्तर और यूपी सरकार के बीच घमासान, मजदूरों की बस पर चल रही है चिट्ठी की जंग

नई दिल्ली(एजेंसी): प्रियंका गांधी (Priyanka Gandhi) : उत्तर प्रदेश में मजदूरों की घर वापसी को लेकर सियासत तेज हो गई है. प्रवासी मजदूरों को वापस लाने के लिए कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी औऱ यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ आमने सामने आ गए हैं. बता दें कि प्रियंका गांधी ने मजदूरों को ले जाने के लिए एक हजार बसें देने की बात कही थी और इसके लिए योगी सरकार से अनुमति मांगी थी.

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अब कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि यूपी सरकार ने आज सुबह 10 बजे तक सभी बसों को लखनऊ हैंडओवर करने को कहा है जो की संभव नहीं है. दरअसल ये कैसे हो पाएगा कि दिल्ली-एनसीआर से एक हजार खाली बसें लखनऊ जाएं और वहां से यूपी के बॉर्डर पर दोबारा भेजी जाएं. दरअसल यूपी सरकार की तरफ से प्रियंका गांधी के कार्यालय को चिट्ठी लिखकर बसों और ड्राइवरों से जुड़े सभी कागजात जमा कराने को कहा गया है. इन सियासी तकरार के बीच बेबस मजदूर यूपी बॉर्डर पर घर वापसी के इंतजार में हैं.

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प्रियंका गांधी कांग्रेस महासचिव ने दो दिन पहले  उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से कहा कि कांग्रेस प्रवासी मजदूरों को घर वापस लाने के लिए एक हजार बसें देने के लिए तैयार है और इसके लिए यूपी सरकार की ओर से अनुमति दी जाए. इसके लिए प्रियंका गांधी के सचिव ने यूपी सरकार को चिट्ठी लिखी कि एक हजार बसें देने के लिए कांग्रेस तैयार है और इनके लिए यूपी सरकार रूट बताए. प्रियंका गांधी के सचिव का दावा है कि इसके जवाब में यूपी सरकार ने 18 मई को व्हॉट्सएप के जरिए चिट्ठी भेजी जिसमें कहा गया कि समस्त बसों सहित ड्राइवर्स के फिटनेस सर्टिफिकेट उपलब्ध कराए जाएं. इसके अलावा ड्राइवर्स के ड्राइविंग लाइसेंस और बसों के नंबर सहित सारी जानकारी उपलब्ध कराएं. प्रियंका गांधी के सचिव का दावा है कि यूपी सरकार को सारी जानकारी तुरंत मुहैया करा दी गई लेकिन इसके बाद रात 11 बजकर 40 मिनट पर यूपी सरकार का ई-मेल मिला कि 19 मई को सुबह 10 बजे तक लखनऊ डीएम को सारी जानकारी दी जाए और बसें लखनऊ हैंडओवर की जाएं.

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प्रियंका गांधी की तरफ से उनके निजी सचिव संदीप सिंह के पत्र के जवाब में अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी ने कांग्रेस से सभी बसों की जानकारी के साथ फिटनेस सर्टिफिकेट और ड्राइवर का लाइसेंस की विस्तृत जानकारी आज सुबह 10 बजे तक लखनऊ के ज़िलाधिकारी के समक्ष प्रस्तुत करने को कहा.

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प्रवासी मज़दूरों को यूपी लाने को लेकर बीजेपी और कांग्रेस ने नोक झोंक वाली राजनीति चल रही है. यूपी के बॉर्डर पर बस लगाकर योगी सरकार पर बसे चलाने की अनुमति न देने के कांग्रेस के आरोप और चिट्ठी पर योगी सरकार ने पलटवार करते हुए कांग्रेस को बसें चलाने की अनुमति दे दी लेकिन जब आज सभी बसों को लखनऊ हैंडओवर करने को कहा गया तो प्रियंका गांधी के दफ्तर से ये कहा गया कि ये कैसे संभव है और यूपी सरकार राजनीति कर रही है और मजदूरों की मदद के लिए कांग्रेस की पेशकश को गंभीरता से नहीं ले रही है.

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