जलवायु परिवर्तन पर दुनिया को जगाने वाली 16 वर्षीय ग्रेटा थनबर्ग बनी सबसे कम उम्र की TIME ‘पर्सन ऑफ द ईयर’

नई दिल्ली (एजेंसी). जलवायु परिवर्तन पर दुनिया के दिग्गजों को झकझोर कर रख देने वाली ग्रेटा थनबर्ग (Greta Thunberg) को टाइम मैग्जीन का ‘पर्सन ऑफ द ईयर’ चुना गया है. 16 साल की उम्र में सम्मान हासिल करने वाली ग्रेटा थनबर्ग अभी तक सबसे कम उम्र की हैं. टाइम पर्सन ऑफ द ईयर चुनी जाने वाली ग्रेटा थनबर्ग अपने प्रभावशाली और आक्रमक भाषणों को लेकर चर्चा में रही हैं. उन्होंने इस साल संयुक्त राष्ट्र की क्लाइमेट एक्शन समिट में अपने भाषण से पूरी दुनिया को जगा दिया था. तभी ग्रेटा थनबर्ग दुनिया की बहुचर्चित शख्सियत बन गईं.

ग्रेटा थनबर्ग स्वीडन की 16 साल की पर्यावरण एक्टिविस्ट हैं. पिछले साल स्वीडन की संसद के सामने उन्होंने जलवायु परिवर्तन के खिलाफ अकेले विरोध कर सुर्खियां बटोरी थीं. जलवायु परिवर्तन को लेकर उनका तेवर हमेशा मुखर रहा है. सितंबर महीने में न्यूयार्क में आयोजित संयुक्त राष्ट्र के जलवायु परिवर्तन पर सम्मेलन के दौरान उनका दिया गया भाषण काफी सराहा गया. अपने ओजस्वी भाषण से उन्होंने दुनिया का ध्यान अपनी ओर आकर्षित किया. सम्मेलन में शामिल 60 देशों के राष्ट्रयाध्यक्षों की निष्क्रियता पर ग्रेटा ने खरी-खोटी सुनाया था. सम्मेलन में उन्होंने नेताओं को फटकार लगाते हुए कहा था कि जलवायु परिवर्तन पर आपका अभी तक खोखला रवैया रहा है.

सितंबर महीने में आयोजित सम्मेलन में उन्होंने कहा था, “आपने मेरे बचपन के सपनों को अपने खोखले शब्दों से छीन लिया है. लोग मर रहे हैं. पूरा पारिस्थितिकी तंत्र तबाह हो रहा है.” उन्होंने राष्ट्रयाध्यक्षों से तत्काल कार्रवाई की अपील करते हुए कहा था कि हम आप पर नजर रखेंगे.

अपने कवर पेज पर ग्रेटा की तस्वीर को जगह देते हुए मैगजीन ने लिखा, “ग्रेटा ने पूरी दुनिया का ध्यान खींचने में सफलता पाई है, उनके भाषण ने लाखों अस्पष्ट विचारों को बदलने में अहम भूमिका निभाई, विश्व नेताओं से तत्काल बदलाव का आह्वान कर लोगों की बेचैनियों को सामने रखा.” टाइम ने आगे लिखते हुए कहा, “ग्रेटा ने काम करने के इच्छुक लोगों से नैतिक आह्वान किया और जो इसके लिए ढुलमुल रवैया रखते थे, उन्हें खरी-खोटी सुनाई.”

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