नोएडा (एजेंसी)। बाइक बोट कंपनी की करीब 1500 करोड़ रुपए से ज्यादा के घोटाले की जांच में पता चला है कि कंपनी ने अलग-अलग 17 बैंक खातों में निवेशकों से पैसे मंगाए थे। इन बैंक खातों से करोड़ों रुपयों को सैकड़ों अलग-अलग बैंक खातों में स्थानांतरित किया गया है। एसएसपी वैभव कृष्ण ने शुक्रवार को पत्रकार वार्ता में यह जानकारी दी।
एसएसपी ने बताया कि अभी तक की जांच के अनुसार बैंक खातों में जमा कराए करीब 650 करोड़ रुपयों को डायवर्ट किया गया है। इसके अलावा बाइक कंपनी के निदेशकों ने इन खातों से चेक या अन्य तरीके से लग्जरी वाहन खरीदने पर भी करोड़ों रुपए खर्च किए हैं। इनमें से 8.75 करोड़ रुपए के वाहन जब्त किए हैं।
एसएसपी ने बताया कि बाइक बोट कंपनी के खिलाफ नोएडा में दर्ज हुई 37 एफआईआर की जांच एक एसआईटी कर रही है। इस टीम ने जेल में बंद मुख्य आरोपी व मास्टरमाइंड संजय भाटी को 5 दिन और दूसरे निदेशक विजयपाल कसाना को 3 दिन की पुलिस रिमांड पर लेकर गहनता से पूछताछ की। इस दौरान कंपनी के दनकौर स्थित चीती गांव में बनाए गए मुख्य कार्यालय में छानबीन की गई। जहां से 102 बाइकें बरामद हुईं।
इसके अलावा यह भी पता चला था कि आरोपियों ने पहले ही अपने आफिस में स्वयं आग लगाकर बहुत सारे साक्ष्यों को जलाकर नष्ट कर दिया है। इसके साथ मौके से फर्जी चेक से भरे 5 बोरे भी मिले। उन्होंने बताया कि कंपनी को बंद करने के बाद विरोध करने वाले निवेशकों को यही चेक देकर आरोपियों के भागने की योजना थी।
एसएसपी ने बताया कि पुलिस की अभी तक की जांच में पता चला है कि बाइक बोट के अलग-अलग नाम से 17 बैंक खाते खोले गए थे। अभी और भी खाते मिल सकते हैं। इन खातों में अब रुपए नहीं हैं। इन खातों से अलग-अलग श्रंखला के रूप में सैकड़ों बैंक खाते हैं जिनमें पैसे ट्रांसफर किए गए हैं। एसएसपी वैभव कृष्ण ने बताया कि इस पूरे फर्जीवाड़े में धनशोधन के भी संकेत मिले हैं, जिसकी जांच की जा रही है।