ज्योतिषाचार्य डॉ दत्तात्रेय होस्केरे
रायपुर (अविरल समाचार) हरेली अमावास्या 2024 : श्रावण की हरियाली अमावस्या 4 अगस्त रविवार को है| शास्त्रों में पितरों की शांति, श्राद्ध कर्म करने के लिए अमावस्या तिथि बहुत महत्वपूर्ण बताया गया है| मान्यता है इस दिन पवित्र नदी में स्नान और दान करने से तीन दोषों जैसे पितृदोष, कालसर्प दोष और शनि दोष से मुक्ति मिलती है| पंचांग के अनुसार हरियाली अमावस्या पर रवि पुष्य योग है जो की अत्यंत शुभ होता है| साथ ही इस दिन सिद्धि योग ,श्रीवत्स योग, सर्वार्थ सिद्धि योग भी हैं इस तरह चतुर्योग का निर्माण हो रहा है|
चार विशेष योग:
- इस बार श्रावण मास के रविवार को रवि पुष्य योग का दुर्लभ संयोग भी बना है| ऐसे में इस दिन सूर्य और शनि प्रधान नक्षत्र की उपस्थिति होने से पितरों के साथ विष्णु जी और भगवान शिव और माता पार्वती की विधिवत पूजा करने से कभी न खत्म होने वाला पुण्य मिलेगा|
- हरियाली अमावस्या पर सिद्धि योग भी है, जिससे सभी कार्य जो इस दिन किये जायेंगे उनमे सिद्धि प्राप्त होगी|
- सिंह राशि मे शुक्र और बुध की युति से बुधादित्य योग बनेगा. इससे व्रती को सूर्य देव का आशीर्वाद भी मिलेगा|
- सर्वार्थ सिद्धि योग है जिसके कारण समस्त मनोकामनाओं के पूर्ण होने की संभावनाए बनेंगी और पितृ दोष और सूर्य संबंधी सभी दोषों का समाधान होगा||
हरियाली अमावस्या पर क्या करें
शिव का पूजन कर के वृक्षारोपण करें: हरियाली अमावस्या का पर्व जीवन में पर्यावरण के महत्व का संदेश देता है| इस दिन घर और मंदिरों में पौधे लगाए जाते हैं| हिंदू धर्म में पेड़-पौधों में देवताओं का वास माना जाता है| मान्यता है कि हरियाली अमावस्या पर वृक्षारोपण करने से जीवन के सारे कष्ट दोष दूर हो जाते हैं| विशेह इस दिन खुले स्थान और मंदिर के प्रांगण मे विधिवत पीपल और बरगद के वृक्ष का रोपण करने से सभी शनि और सूर्य संबंधी दोष दूर होते हैं|
किसानी का कार्य प्रारम्भ करें: वहीं हरियाली अमावस्या किसानों का पर्व कहलाता है, इस दिन वह खेती के उपकरणों की पूजा कर ईश्वर से अच्छी फसल की कामना करते हैं|
स्त्रियाँ व्रत करें: हरियाली अमावास्या पर शिव पार्वती का विधिवत पूजन करने से स्त्रियों को अखंड सुहागन होने का वरदान भी मिलता है| हरियाली अमावस्या पर अखंड सौभाग्य के लिए सुहागन महिलाएं श्रृंगार का सामान वितरण करें तो अत्यंत शुभ होता है|
घर के द्वार पर नीम की डालियाँ लगाएं: अपने घर के द्वार पर नीम के पत्तियों से श्रुंगार करें इस से नकारात्मक ऊर्जा का नाश होता है| और आरोग्य प्राप्त होता है|
सावन अमावस्या तिथि की शुरुआत 3 अगस्त को दोपहर 3.49 मिनट पर होगी और 4 अगस्त को दोपहर 4.43 बजे तक रहेगी|
स्नान-दान समय – प्रात: 6.35 से 8.45 तक
हरियाली अमावस्या पूजा मुहूर्त
हरियाली अमावस्या के दिन ब्रह्म मुहूर्त: प्रात: 04:20 से प्रात: 05:02 तक
अभिजीत मुहूर्त: दोपहर 12:00 से दोपहर 12:54 तक
उपाय;
- असाध्य रोग से पीड़ित व्यक्ति इस दिन यदि शिव जी का कपूर के जल से अभिषेक करें और महा मृत्युंजय मन्त्र का जाप करें तो अवश्य लाभ होगा|
- पारिवारिक कष्ट और सामंजस्य की समस्या से यदि आप पीड़ित हैं तो इस दिन शिवजी को पांच बेलपत्र लाल चन्दन लगा कर चढ़ाएं और सुन्दर काण्ड का पाठ करें तो लाभ होगा|
- यदि विवाह नहीं हो रहा है या वैवाहिक जीवन में समस्या है तो शिवजी को दो नारियल हल्दी कुमकुम लगाकर चढ़ाएं और दुर्गा सप्तशती के अर्गला स्त्रोत्र और एकादश अद्याय का पठन प्रारम्भ करें| जब तक विवाह न हो जाए तब तक करते रहें|
- पितृ दोष के निवारण के लिए इस दिन गाय को दोपहर में भोजन देकर जल दें|