रायपुर : छत्तीसगढ़ सरकार ने कोरोना को लेकर नया गाइडलाइन जारी किया है. जिसमें कोरोना संक्रमित मरीजों के डिस्चार्ज और कोरोना वॉरियर्स स्वास्थ्यकर्मियों के क्वारंटाइन के नियम में बदलाव में हुआ है. राज्य सरकार ने कोविड-19 के उपचार और अन्य प्रासंगिक कार्यों के लिए समय-समय पर दिशा निर्देश जारी करने तकनीकी समिति का गठन किया था. जिनके सुझाव के बाद स्वास्थ्य विभाग ने कोविड-19 अस्पतालों में कार्यरत स्वास्थ्य कर्मचारियों के लिए ड्यूटी के बाद क्वारंटाइन के संबंध में कई दिशा निर्देश जारी किया है.
राज्य के विभिन्न कोविड-19 अस्पतालों में कार्यरत स्वास्थ्य कर्मचारियों के लिए उनकी कोविड अस्पताल में ड्यूटी के पश्चात क्वारंटाइन के संबंध में वर्तमान में केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा जारी दिशा निर्देशों का पालन करना है.
कोविड अस्पताल के अधीक्षक/नोडल ऑफिसर को यह सुनिश्चित करना होगा की कार्यरत स्वास्थ्य कर्मचारियों का एक्सपोजर हाई-रिस्क या लो-रिस्क है.
हाई-रिस्क में आये समस्त अधिकारी/कर्मचारियों को 14 दिनों के लिए क्वारंटाइन किया जाएगा. आई.सी.एम.आर. मापदण्ड के अनुसार उनकी कोविड जांच भी की जाएगी.
वे सभी स्वास्थ्य अधिकारी-कर्मचारी जिन्हे लो-रिस्क एक्सपोजर की कैटेगरी में रखा जाएगा. ऐसे अधिकारियों-कर्मचारियो को 7 दिन के लिए क्वारंटाइन नियमों का पालन करना आवश्यक होगा. यदि कोविड के संभावित लक्षण हो तो तत्काल RT PCR के लिए सैम्पल लिया जाए.
इसके अलावा लक्षण ना रहने की स्थिति में 5वें दिन में सैम्पल लिया जाएगा. 7वें दिन तक रिपोर्ट प्राप्त करें और निगेटिव आने के बाद उन्हें वापस कार्य में लिया जाएगा. यानी वे 7वें दिन के अवकाश के बाद अपने काम में लौटेंगे.
कोरोना के लिए गठित तकनीकी समिति ने मरीजों की बढ़ती संख्या और उपलब्ध सीमित RT PCR टेस्ट सुविधा को ध्यान में रखते हुए कुछ सुझाव दिए थे.
राज्य के विभिन्न कोविड-19 अस्पतालों में कोरोना वायरस से ग्रसित मरीजों को अस्पताल से डिस्चार्ज के लिए केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग निर्देशों का पालन करना है.
कोविड अस्पताल यान कोविड सेंटर में भर्ती लक्षण रहित (एसिम्टोमेटिक) मरीजों को प्रथम RT PCR सैम्पल लिए जाने के 10 दिन बाद तक मरीज लगातार बिना लक्षण के रहने की स्थिति में डिस्चार्ज किया जाए. ऐसे मरीजों के डिस्चार्ज के लिए RT PCR जांच किया जाना आवश्यक नहीं होगा.
हल्के लक्षण वाले भर्ती मरीजों की नियमित तापमान और पल्स ऑक्सीमीटर से जांच की जाए. ऐसे मरीजों को लक्षण मिलने पर 10 दिन बाद और तीन दिनों तक बुखार न आने पर डिस्चार्ज किया जाए. ऐसे मरीजों के डिस्चार्ज के लिए RT PCR जांच किया जाना आवश्यक नहीं होगा.
किन्ही कारणोवश मरीज का प्रथम पॉजीटिव टेस्ट प्राप्त होने में 10 दिन या उससे अधिक विलंब हो जाता है या उस समय मरीज लक्षण विहीन रहता है. ऐसी परिस्थिति में भी मरीज को पॉजीटिव रिपोर्ट आने के बाद 5 दिन तक अनिवार्य रूप से कोविड अस्पताल में भर्ती कर उपचार किया जाए. भले ही मरीज लक्षणरहित (एसिम्टोमेटिक) हो.
मरीज को डिस्चार्ज करते समय अच्छी तरह से काउंसिलिंग कर 7 दिनों के लिए होम आइसोलेशन और सेल्फ मॉनीटरिंग की सलाह दी जाए. मरीज को काउंसिलिंग के माध्यम से यह समझाया जाए की डिस्चार्ज होने के बाद यदि उसे बुखार, खांसी या सांस लेने में तकलीफ इत्यादि लक्षण मिलने पर स्वयं या परिजन कोरोना हेल्प लाइन नं. 104 में संपर्क कर सुझाव लें.