नई दिल्ली (एजेंसी). संसद पर हमले के मामले में बरी किए जा चुके दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) के पूर्व प्रोफेसर एस.ए.आर गिलानी का हार्ट अटैक के बाद निधन हो गया है. गिलानी का निधन कल शाम फोर्टिस अस्पताल में हुआ, जहां वह सांस में तकलीफ और अन्य समस्याओं की वजह से भर्ती किए गए थे. बड़ी बात यह है कि दिल्ली पुलिस ने किसी विवाद से बचने के लिए उनका पोस्टमार्टम कराने का फैसला किया है.
दिल्ली पुलिस के सूत्रों के मुताबिक, “जानलेवा हमला होने के बाद से ही क्योंकि प्रो. गिलानी पुलिस सुरक्षा घेरे में थे. ऐसे में उनकी मौत को लेकर बाद में कोई विवाद खड़ा न हो, इसीलिए दिल्ली पुलिस ने गिलानी के शव का पोस्टमॉर्टम कराना चाहा है.” घटना के वक्त प्रोफेसर गिलानी एक जिम में योग कर रहे थे, उसी वक्त उन्हें दर्द की शिकायत हुई.
दिल्ली पुलिस के उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया, “प्राथमिक जांच में यही पता चला है कि प्रोफेसर गिलानी की मौत हृदयाघात के कारण हुई है. उन्हें चूंकि लंबे समय से पुलिस सुरक्षा घेरा मिला हुआ था. ऐसे में दिल्ली पुलिस भविष्य में गिलानी की मौत के मुद्दे पर कोई सिरदर्द मोल नहीं लेना चाहती है. इसी के चलते दिल्ली पुलिस ने गिलानी के शव का पोस्टमार्टम कराने की योजना बनाई है.”
सूत्रों के मुताबिक, “प्रोफेसर गिलानी की मौत की कानूनन सही वजह और वक्त का पता सिर्फ और सिर्फ पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट से ही पता चल सकेगा. लिहाजा शुक्रवार को दोपहर के वक्त प्रोफेसर गिलानी के शव का पोस्टमॉर्टम दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में कराया जाएगा.”
उल्लेखनीय है कि प्रोफेसर एसएआर गिलानी दिल्ली विश्वविद्यालय के जाकिर हुसैन कॉलेज में अरबी भाषा पढ़ाते थे. साल 2001 में वे तब चर्चा में आये जब दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल की टीम (सहायक पुलिस आयुक्त राजवीर सिंह की टीम) ने उन्हें गिरफ्तार किया था. प्रोफेसर गिलानी पर संसद हमले की साजिश रचने का आरोप लगा था. हांलांकि बाद में सुप्रीम कोर्ट ने प्रोफेसर गिलानी को सभी आरोपों से बा-इज्जत बरी कर दिया था.