नई दिल्ली(एजेंसी): गुरुवार ( 23 July, 2020) को गोल्ड के रेट ने फिर 50 हजार रुपये का आंकड़ा पार कर लिया. अब यह फिर नए रिकार्ड के पास पहुंचता दिख रहा है. जबकि चांदी में गिरावट दर्ज की गई. गुरुवार को वायदा बाजार में सोने की कीमत 0.12 फीसदी यानी 62 रुपये बढ़ कर 50,196 रुपये प्रति दस ग्राम पर पहुंच गई. वहीं चांदी 0.67 फीसदी यानी 408 रुपये गिर कर 60,707 रुपये प्रति किलो पर आ गई. कोरोना वायरस संक्रमण बढ़ने से आर्थिक स्थितियां और खराब हो रही हैं. लिहाजा निवेशक सुरक्षित निवेश के लिए गोल्ड में पैसा लगा रहे हैं. सोना-चांदी के बढ़े दाम इसकी पुष्टि कर रहे हैं.
गुरुवार को अहमदाबाद के सर्राफा बाजार में गोल्ड हाजिर की कीमत रही 50,005 रुपये प्रति दस ग्राम. वहीं गोल्ड फ्यूचर 50,195 रुपये प्रति दस ग्राम पर बिका.
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के मुताबिक बुधवार को दिल्ली के सर्राफा बाजार में सोने की कीमत 430 रुपये बढ़ कर 50,920 रुपये प्रति दस ग्राम पर पहुंच गई. वहीं चांदी में भी भारी बढ़त दिखी और यह 2,250 रुपये बढ़ कर 60,400 रुपये प्रति किलो पर पहुंच गई.
गुरुवार को ग्लोबल मार्केट में गोल्ड नौ साल की रिकार्ड ऊंचाई पर पहुंच गया. गुरुवार को ग्लोबल मार्केट में गोल्ड हाजिर 0.1 फीसदी चढ़ कर 1872 डॉलर प्रति औंस पर पहुंच गया वहीं गोल्ड फ्यूचर 0.2 फीसदी चढ़ा और यह 1869.30 डॉलर प्रति औंस पर पहुंच गया.कोरोनावायरस संक्रमण और चीन-अमेरिका ट्रेड वॉर की वजह से गोल्ड और महंगा हो सकता है. डॉलर इंडेक्स में अपने प्रतिद्वंद्वियों के मुकाबले में 0.2 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई. लिहाजा दूसरी करंसी धारकों के लिए गोल्ड और महंगा हो गया .
निवेशकों का गोल्ड में विश्वास बरकरार है. गोल्ड में निवेशकों के रुझान की वजह से दुनिया की सबसे बड़े गोल्ड आधारित ईटीएफ एसपीडीआर गोल्ड ट्रस्ट की होल्डिंग 0.4 फीसदी बढ़ कर 1,225.86 टन तक पहुंच गई. अब निवेशकों की नजर इकनॉमिक रिकवरी पर है. चांदी में भी तेजी देखने को मिल रही है. दरअसल आर्थिक गतिविधियों में थोड़ी बढ़ोतरी की वजह से चांदी की औद्योगिक मांग बढ़ी है.
दुनिया की दो बड़ी अर्थव्यवस्थाओं अमेरिका और चीन के आर्थिक आंकड़ों पर निवेशकों की नजर है. रिटेल सेल्स, औद्योगिक उत्पादन और एक्सपोर्ट के आंकड़ों में अगर बढ़ोतरी दिखती है तो गोल्ड में इस हिसाब से परिवर्तन हो सकता है. गोल्ड में खरीदारी इन आकड़ों पर काफी कुछ निर्भर करेगी. दुनिया भर में गोल्ड और सिल्वर के दाम में बढ़ोतरी के ट्रेंड दिख रहे हैं. आर्थिक गतिविधियों में गिरावट के दौर में कीमती धातुओं के दाम में अभी और बढ़ोतरी दर्ज की जा सकती है.